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Class X – Hindi B – Sample Paper – 3

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1. इस प्रश्नपत्र में दो खंड है- खंड ‘अ’ और ‘ब’

2. खंड ‘अ’ में उपप्रश्नों सहित 45 वस्तुपरक प्रश्न पूछे गए हैं। दिए गए निर्देशों का पालन करते हुए कुल 40 प्रश्नों के उत्तर दीजिए।

3. खंड ‘ब’ में वर्णनात्मक प्रश्न पूछे गए हैं, आंतरिक विकल्प भी दिए गए हैं।

4. निर्देशों को बहुत सावधानी से पढ़िए और उनका पालन कीजिए।

5. दोनों खंड़ों के कुल 18 प्रश्न हैं। दोनों खंड़ों के प्रश्नों के उत्तर देना अनिवार्य है।

6. यथासंभव दोनों खंडों के प्रश्नों के उत्तर क्रमशः लिखिए ।

खंड-अ ( वस्तुपरक प्रश्न )

1. निम्नलिखित गद्यांश को ध्यानपूर्वक पढ़कर इसके आधार पर सर्वाधिक उपयुक्त उत्तर वाले विकल्प चुनकर लिखिए-

विद्या + अर्थी अर्थात् विद्या के हेतु जिसका जन्म हो वो है। विद्यार्थी। लेकिन नित्य बढ़ती अनुशासनहीनता के कारण आजकल के विद्यार्थियों में उसका अर्थ बदल दिया है वो इस प्रकार है जो विद्या की अर्थी निकाल दे वही विद्यार्थी है। विद्यार्थियों में बढ़ती अनुशासनहीनता के कारणों में संभवतः सर्वाधिक मुख्य कारण यह भी है कि प्रायः विद्यार्थी अनुशासन के लामो से अपरिचित होते हैं उन्हे ज्ञान नही होता कि अनुशासन से जीवन सुखी एवं शांत बन जाता है। अनुशासनहीनता का दूसरा कारण यह है कि आज कि शिक्षा प्रणाली में आचरण को केवल व्यक्तिगत विषय समझ लिया गया है। विद्यार्थी को आचरण सम्बंधी शिक्षा नही दी जाती है तथा पुस्तकीय ज्ञान को ही सब कुछ मान लिया जाता है। फलतः विद्यार्थी की चंचल मानसिक प्रवृति निरंतर उदंडता की ओर उन्मुख होती चली जा रही है; अतः यह आवश्यक है कि हम अपनी शिक्षा-पद्धति में सुधार करें तथा आचारशास्त्र को ही आरंभिक कक्षाओं में अनिवार्य तथा उच्च कक्षाओं में वैकल्पिक विषय के रूप में स्थान दें। इसके साथ ही हमें विद्यार्थियों को यह बताना चाहिए कि अनुशासन किस प्रकार से उनके भावी जीवन के विकास में सहायक बन सकता है। हमें विद्यार्थियों को इस बात की शिक्षा देनी चाहिए कि अनुशासन के माध्यम से मन पर नियंत्रण करने की कला भी आती हैं मन को अपने वश में रखने की कला भी आती है। मन को अपने वश में रखने की कला सीख लेने से यह लाभ होता है कि जीवन में प्रगति के पथ पर बढ़ते समय कोई रुकावट नहीं आतीं, लेकिन जो व्यक्ति अपने मन पर शासन करने की कला में प्रवीण नही हो पाते. उनहे सदैव परमुखापेक्षी रहना पड़ता है।

(1) विद्यार्थियों में बढ़ती अनुशासनहीनता का मुख्य कारण है-

(क) खेल में अत्यधिक रुचि होना

(ख) अनुशासन के लाभो से परिचित न होना

(ग) मन का अत्यधिक चंचल होना

(घ) परिपक्वता का अभाव

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उत्तर : (ख) अनुशासन के लाभो से परिचित न होना


(2) विद्यार्थियों को अनुशासन के लाभों से परिचित कराना आवश्यक है, क्योंकि-

(क) इससे उनका जीवन सुखी एवं शांत बनता है।

(ख) वे पढ़ाई में रुचि लेने लगते है

(ग) इससे उन्हें अनुशासन का महत्व ज्ञात होता है

(घ) वे आदर्श विद्यार्थी बन जाते है

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उत्तर : (क) इससे उनका जीवन सुखी एवं शांत बनता है


(3) अनुशासनहीनता का दूसरा कारण है-

(क) अच्छी पुस्तकों का अभाव

(ख) अच्छे शिक्षको की कमी

(ग) शिक्षा – प्रणाली में आचरण की शिक्षा का अभाव

(घ) शिक्षण साधनों का अभाव

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उत्तर : (ग) शिक्षा प्रणाली में आचरण की शिक्षा का अभाव


(4) मन को वश में रखने की कला सीखने का क्या कारण है?

(क) जीवन मे प्रगति पथ निर्बाध हो जाता है

(ख) कार्य कुशलता का विकास होता है।

(ग) शिक्षा प्रणाली में आचरण की शिक्षा का अभाव

(घ) शिक्षण साधनों का अभाव

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उत्तर (क) जीवन मे प्रगति पथ निर्बाध हो जाता है


(5) निम्नलिखित कथन (A) तथा कारण (R) को ध्यानपूर्वक पढ़िए उसके बाद दिए गए विकल्पों में से कोई एक सही विकल्प चुनकर लिखिए।

कथन (A) विद्यार्थियों में अनुशासनहीनता का प्रमुख कारण आज की शिक्षा प्रणाली में आचरण को केवल व्यक्तिगत विषय समझ लिया जाता है।

कारण (R) विद्यार्थियों को आचरण संबंधी शिक्षा नहीं दी जाती तथा पुस्तकीय ज्ञान को ही सब कुछ मान लिया जाता है।

(क) कथन (A) तथा कारण (R) दोनो गलत हैं।

(ख) कथन (A) गलत है लेकिन कारण (R) सही है।

(ग) कथन (A) सही है लेकिन कारण (R) उसकी गलत व्याख्या करता है।

(घ) कथन (A) तथा कारण (R) दोनो सही हैं तथा कारण (R) कथन (A) की सही व्याख्या करता है

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उत्तर (घ) कथन (A) तथा कारण (R) दोनो सही हैं तथा कारण (R) कथन (A) की सही व्याख्या करता है


2. निम्नलिखित गद्यांश को ध्यानपूर्वक पढ़कर इसके आधार पर सर्वाधिक उपयुक्त उत्तर वाले विकल्प चुनकर लिखिए-

कोई भी बाधा प्रतिमा को आगे बढ़ने से नहीं रोक सकती हैं। इसके आगे सारी समस्याएँ बौनी हैं, लेकिन समस्या एक प्रतिभा को खुद दूसरी प्रतिभा से होती है ब्रहमुखी प्रतिमा का होना, अपने भीतर एक प्रतिभा के बजाय दूसरी प्रतिभा को खड़ा करना हैं। इससे हमारा नुकसान होता है। कितना और कैसे ?

एक मनोवैज्ञानिक कहती हैं कि बहुमुखी होना आसान है, बजाय एक खास विषय के विशेषज्ञ होने की तुलना में। बहुमुखी लोग स्पर्धा से घबराते हैं। कई विषयों पर उनकी पकड़ इसलिए होती है कि वे एक स्पर्धा होने पर दूसरे की ओर भागते हैं। वे आलोचना से भी डरते हैं और अपने काम में तारीफ सुनना चाहते हैं। बहुमुखी लोगों में सबसे महान माने जाने वाले माइकल एंजेलो से लेकर अपने यहाँ रवींद्रनाथ टैगोर जैसे कई लोग | लेकिन आज ऐसे लोगो की पूछ-परख कम होती है ऐसे लोग प्रतिभाशाली आज भी माने जाते हैं, लेकिन असफल होने की आशंका उनके लिए अधिक होती है। आज वे लोग ‘विंची सिंड्रोम से पीड़ित माने जाते हैं, जिनकी पकड़ दो तीन या इससे ज्यादा क्षेत्रों में हो, लेकिन हर क्षेत्र मे उनसे बेहतर उम्मीदवार मौजूद हों।

बहुमुखी प्रतिभा वाले लोगो के भीतर कई कामों को साकार करने की इच्छा बहुत तीव्र होती है | उनकी उत्सुकता उन्हें एक – से – दूसरे क्षेत्र में हाथ आज़माने को बाध्य करती है। समस्या तब होती है, जब यह हाथ आजमाना दखल करने जैसा हो जाता है। ये न इधर के रह जाते हैं और न उधर के | प्रबंधन की दुनिया में – ‘एक के साधे सब सधे, सब साधे सब जाए’ का मंत्र ही शुरू से प्रभावी हैं। यहाँ उस पर ज्यादा फोकस नहीं किया जाता, जो सारे अंडे एक टोकरी में न रखने की बात करता है हम दूसरे क्षेत्रों में हाथ आजमा सकते हैं, पर एक क्षेत्र के महारथी होने मे ब्रेकर की भूमिका न अदा करें।

(1) गद्यांश के अनुसार, सारी समस्याएँ बौनी हैं-

(क) धन के आगे

(ख) बल के आगे

(ग) प्रतिभा के आगे उत्तर

(घ) साधन के आगे

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उत्तर (ग) प्रतिभा के आगे


(2) बहुमुखी प्रतिमा क्या है?

(क) बहुत से मुख वाली प्रतिभा

(ख) बोलने वाली प्रतिभा

(ग) अनेक मुखों से प्रतिभा का बखान करना

(घ) अपने भीतर अनेक प्रतिभाएँ खड़ी करना

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उत्तर (घ) अपने भीतर अनेक प्रतिभाएँ खड़ी करना


(3) निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए-

(i) प्रतिमा के आगे सारी समस्याएँ बौनी होती हैं।

(iii) बहुमुखी प्रतिभा के धनी लोग अपने कामों की आलोचना सुनना पसंद करते हैं

उपर्युक्त कथनों में से कौन सा / कौन से कथन सही है/हैं –

(क) केवल (i)

(ख) केवल (ii)

(ग) केवल (iii)

(घ) (i) and (ii)

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उत्तर : (घ) (i) and (ii)


(4) बहुमुखी प्रतिभा वालों में किसे महान माना गया है ?

(क) रवींद्रनाथ टैगोर को

(ख) न्यूटन को

(ग) माइकल एंजेलो को

(घ) गांधी जी को

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उत्तर : (ग) माइकल एंजेलो को


(5) निम्नलिखित कथन (A) तथा कारण (R) को ध्यानपूर्वक पढ़िए उसके बाद दिए गए विकल्पों में से कोई एक सही विकल्प चुनकर लिखिए-

कथन (A) प्रबंधन के क्षेत्र में बहुमुखी प्रतिभा वाले लोगों की आवश्यकता होती है।

कारण (R) एक प्रतिभा को दूसरी प्रतिभा से हमेशा समस्या होती है।

(क) कथन (A) तथा कारण (R) दोनो गलत हैं

(ख) कथन (A) गलत हैं लेकिन कारण (R) सही है

(ग) कथन (A) सही है लेकिन कारण (R) उसकी गलत व्याख्या करता है

(घ) कथन (A) तथा कारण (R) दोनो सही है तथा कारण (R) कथन (A) की सही व्याख्या करता है।

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उत्तर : (ग) कथन (A) सही है लेकिन कारण (R) उसकी गलत व्याख्या करता है


3. निर्देशानुसार ‘पदबंध’ पर आधारित पाँच बहुविकल्पीय प्रश्नों में से किन्हीं चार प्रश्नों के उत्तर दीजिए-

(1) विचारमग्न तताँरा समुद्री बालू पर बैठकर सूरज की अंतिम रंग-बिरंगी किरणों को समुद्र पर निहारने लगा। इस वाक्य में विशेषण पदबंध है-

(क) अंतिम रंग-बिरंगी

(ख) विचारमग्न तताँरा

(ग) निहारने लगा

(घ) बालू पर बैठकर

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उत्तर : (क) अंतिम रंग-बिरंगी


(2) वे बहुत जल्दी घबरा जाते हैं।’ वाक्य में रेखांकित पदबंध है-

(क) संज्ञा पदबंध

(ख) क्रिया पदबंध

(ग) विशेषण पदबंध

(घ) सर्वनाम पदबंध

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उत्तर : (ख) क्रिया पदबंध


(3) ऐसी एक घटना का जिक्र सिंधी भाषा के महाकवि शेख अयाज ने अपनी आत्मकथा में किया है।’ रेखांकित पदबंध का भेद है-

(क) संज्ञा पदबंध

(ख) क्रिया पदबंध

(ग) विशेषण पदबंध

(घ) सर्वनाम पदबंध

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उत्तर : (क) संज्ञा पदबंध


(4) क्रिया पदबंध का उदाहरण छाँटिए-

(क) भाई साहब फेल हो गए, मैं पास हो गया ।

(ख) उसके चरित्र से तुमने कौनसा उपदेश लिया ?

(ग) कोई अजनबी युवक उसे निःशब्द ताके जा रहा है।

(घ) वे फिर से चलने-फिरने के काबिल नहीं हो सकें ।

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उत्तर : (ग) कोई अजनबी युवक उसे निःशब्द ताके जा रहा है


(5) भाई साहब स्वभाव से बड़े अध्ययनशील थे। रेखांकित पदबंध का भेद है-

(क) संज्ञा पदबंध

(ख) क्रिया पदबंध

(ग) विशेषण पदबंध

(घ) सर्वनाम पदबंध

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उत्तर : (ग) विशेषण पदबंध


4. निर्देशानुसार ‘रचना के आधार पर वाक्य भेद’ पर आधारित पाँच बहुविकल्पीय प्रश्नों में से किन्हीं चार प्रश्नों के उत्तर दीजिए-

(1) मै सफल हुआ और कक्षा में प्रथम स्थान पर आया । वाक्य का सरल वाक्य में रूपांतरण होगा-

(क) मै सफल होकर कक्षा मे प्रथम स्थान पर आया

(ख) मैं सफल हुआ, इसलिए कक्षा मे प्रथम आया

(ग) यदि मैं सफल होता तो कक्षा मे प्रथम स्थान पर आता

(घ) क्योंकि मैं सफल हुआ, इसलिए प्रथम स्थान पर आया

(2) ‘लोग टोलियाँ बनाकर मैदान में घूमने लगे।’ वाक्य का भेद है-

(क) सरल वाक्य

(ख) संयुक्त वाक्य

(ग) मिश्र वाक्य

(घ) प्रधान वाक्य

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उत्तर : (क) सरल वाक्य


(3) कॉलम 1 को कॉलम 2 के साथ सुमेलित कीजिए और सही विकल्प चुनकर लिखिए-

(क) 1 –iii, 2 – I, 3 – ii

(ख) 1 – ii, 2 – iii, 3 – i

(ग) 1 – ii, 2 – I, 3 – iii

(घ) 1 – iii, 2 – ii, 3 – i

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उत्तर : (ग) 1 – ii, 2 – I, 3 – iii


(4) निम्नलिखित वाक्यों मे संयुक्त वाक्य है-

(क) गाड़ी रूकने की जगह खड़े रहो

(ख) हम स्टेशन पहुँचे और गाड़ी चल दी

(ग) जो लोग परिश्रम करते हैं, वे निराशा से बचे रहते हैं।

(घ) वह कपड़े खरीदने बाजार गई है

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उत्तर : (ख) हम स्टेशन पहुँचे और गाड़ी चल दी


(5) मोनुमेंट के नीचे झंडा फहराया जाएगा और स्वतंत्रता की प्रतिज्ञा पढ़ी जाएगी।’ वाक्य का भेद है-

(क) सरल वाक्य

(ख) मिश्र वाक्य

(ग) संयुक्त वाक्य

(घ) इनमे से कोई नही

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उत्तर : (ग) संयुक्त वाक्य


5. निर्देशानुसार ‘समास’ पर आधारित पाँच बहुविकल्पीय प्रश्नों में से किन्हीं चार प्रश्नों के उत्तर दीजिए-

(1) हवन सामग्री मे समास है-

(क) कर्मधारय समास

(ख) अव्ययीभाव समास

(ग) तत्पुरुष समास

(घ) द्वंद्व समास

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उत्तर : (ग) तत्पुरुष समास


(2) भयमीत का समास विग्रह है-

(क) भय से भीत

(ख) भय के लिए गीत

(ग) भय का भीत

(घ) भय और भीत

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उत्तर : (क) भय से भीत


(3) निम्नलिखित युग्मो पर विचार कीजिये –

उपर्युक्त युग्मों में से कौन-से सही सुमेलित हैं-

(क) (i) और (iv)

(ख) (ii) और (iv)

(ग) (i) और (iii)

(घ) (ii) और (iii)

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उत्तर : (घ) (ii) और (iii)


(4) ‘अकालपीड़ित’ शब्द के लिए सही समास – विग्रह और समास का चयन कीजिए-

(क) अकाल का पीड़ित – द्विगु समास

(ख) अकाल से पीड़ित – तत्पुरुष समास

(ग) अकाल के लिए पीड़ित कर्मधारय समास

(घ) अकाल की पीड़ित – बहुव्रीहि समास

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उत्तर : (ख) अकाल से पीड़ित – तत्पुरुष समास


(5) ‘जेबकतरा’ का समास – विग्रह एवं भेद होगा-

(क) जेब को काटने वाला – तत्पुरुष समास

(ख) जेब की काट – द्विगु समास

(ग) जेब और काट – द्वंद्व समास

(घ) जेब मे काट – कर्मधारय समास

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उत्तर : (क) जेब को काटने वाला – तत्पुरुष समास


6. निर्देशानुसार ‘मुहावरे’ पर आधारित छह बहुविकल्पीय प्रश्नों में से किन्हीं चार प्रश्नों के उत्तर दीजिए-

(1) मुहावरे और अर्थ के उचित मेल वाले विकल्प का चयन कीजिए-

(क) बाट जोहना – राह देखना

(ख) गाँठ बाँध लेना – खतरा उठाना

(ग) हँसी खेल – हँसते रहना

(घ) सुध-बुध खोना – मदद करना

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उत्तर : (क) बाट जोहना – राह देखना


(2) ‘लाछन लगाना’ अर्थ के लिए उचित मुहावरा है-

(क) काम तमाम करना

(ख) चार चाँद लगाना

(ग) कीचड़ उछालना

(घ) आड़े हाथो लेना

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उत्तर : (ग) कीचड़ उछालना


(3) गणित का गृहकार्य करना मुझे जैसा प्रतीत होता है। रिक्त स्थान की पूर्ति हेतु उपयुक्त मुहावरा चुनिए

(क) फूलो की सेज

(ख) लोहे के चने चबाना

(ग) गड़े मुर्दे उखाड़ना

(घ) अंधे की लकड़ी

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उत्तर : (ख) लोहे के चने चबाना


(4) मालिक ने नौकर को चोरी करते ______ लिया। रिक्त स्थान की पूर्ति हेतु उचित विकल्प चुनिए

(क) रंगे हाथो पकड़

(ख) नौ दो ग्यारह कर

(ग) लकीर का फकीर कर

(घ) ईद का चाँद कर

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उत्तर : (क) रंगे हाथो पकड़


(5) रेखांकित अंश के लिए कौन-सा मुहावरा प्रयुक्त करना उचित रहेगा?

संतों की बातों को हमेशा याद रखना चाहिए ।

(क) कलेजे से लगाना

(ख) उंगली पर नचाना

(ग) गाँठ बाँध लेना

(घ) अंक में समेटना

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उत्तर : (ग) गाँठ बाँध लेना


(6) अंधे के हाथ बटेर लगना’ का अर्थ है-

(क) अच्छा समय

(ख) अच्छी वस्तु प्राप्त होना

(ग) भाग्यवश अच्छी वस्तु प्राप्त होना

(घ) अंधे व्यक्ति को बटेर प्राप्त होना

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उत्तर : (ग) भाग्यवश अच्छी वस्तु प्राप्त होना


7. निम्नलिखित पद्यांश को पढ़कर पूछे गए प्रश्नों के उत्तर के लिए सही विकल्प का चयन कीजिए-

स्याम म्हाने चाखर राखो जी,

गिरधारी लाला म्हाँने चाकर राखोजी ।

चाकर रहस्यूँ बाग लगास्यूँ नित उठ दरसण पास्यूँ

बिन्दरावन री कुंज गली मे गोविन्द लीला गास्यूँ

चाकरी में दरसण पास्यूँ, सुमरण पास्यूँ खरची

भाव भगती जागीरी पास्यूँ, तीनूं बाताँ सरसी ।

मोर मुकुट पीताम्बर सौहे, गल वैजन्ती माला ।

बिन्दरावन में धेनू चरावे, मोहन मुरली वाला ।

ऊँचा – ऊँचा महल बणावं बिच बिच राखूँ बारी ।

साँवरिया रा दरसण पास्यूँ, पहर कुसुम्बी साडी ।

आधी रात प्रभू दरसण दीज्यो जमनाजी रो तीरा ।

मीराँ रा प्रभू गिरधर नागर, हिवडो घणों अधीरा

(1) मीरा कृष्ण से क्या प्रार्थना कर रही है?

(क) उनकी पीड़ा दूर करने की

(ख) सेविका के रूप मे स्वीकार करने की

(ग) प्रेमिका के रूप मे स्वीकार करने की

(घ) उन्हें अपने से दूर रखने की

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उत्तर : (ख) सेविका के रूप मे स्वीकार करने की


(2) कृष्ण की सेविका बनकर मीरा क्या करना चाहती है?

(क) बाग सजाना, दर्शन करना, गीत गाना

(ख) प्रशंसा के गीत गाना और गोकूल में रहना

(ग) रोज उठकर उनके दर्शन करना और रोना

(घ) उनकी याद मे रोना, दर्शन करना गीत गाना

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उत्तर : (क) बाग सजाना, दर्शन करना, गीत गाना


(3) मीरा वृंदावन की गलियों में

(क) कृष्ण से मिलना चाहती है।

(ख) कृष्ण का गुणगान करना चाहती है।

(ग) कृष्ण को उलाहना देना चाहती है।

(घ) कृष्ण की प्रतीक्षा करना चाहती हैं।

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उत्तर : (ख) कृष्ण का गुणगान करना चाहती है


(4) कृष्ण की भाव भक्ति में डूबना किसके समान है?

(क) सुख और वैभव के समान

(ख) मान-सम्मान के समान

(ग) धन-दौलत के समान

(घ) धन और सम्मान के समान

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उत्तर : (क) सुख और वैभव के समान


(5) निम्नलिखित वाक्यो को ध्यानपूर्वक पढ़िए

(i) मीरा श्याम को नौकर बनाना चाहती है ।

(ii) मीरा श्रीकृष्ण की सेविका बनकर रहना चाहती है

(iii) मीरा प्रतिदिन प्रातः उठकर श्रीकृष्ण के दर्शन करना चाहती है।

(iv) श्रीकृष्ण के गले में वैजयंती माला सुशोभित है

(v) श्रीकृष्ण वृंदावन में खेती का कार्य करते हैं

(क) (i), (ii) और (v)

(ख) (i), (iii) और (iv)

(ग) (iii), (iv), और (v)

(घ) (ii), (iii) और (iv)

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उत्तर : (घ) (ii), (iii) और (iv)


8. निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर देने के लिए उचित विकल्प का चयन कीजिए-

(1) कबीर की साखियों का मुख्य उद्देश्य क्या है?

(क) जीवन जीने के सही ढंग का ज्ञान देना

(ख) क्षत्रिय ज्ञान

(ग) शास्त्रीय ज्ञान

(घ) सही ढंग का ज्ञान

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उत्तर : (क) जीवन जीने के सही ढंग का ज्ञान देना


(2) विरासत में मिली वस्तुओं की सँभाल क्यों की जाती है-

(क) पूर्वजों की याद दिलाती है

(ख) पूर्वजो का आर्शीवाद होती हैं

(ग) पूर्वजो के जीवन के बारे मे बताती है

(घ) उपर्युक्त सभी

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उत्तर : (घ) उपर्युक्त सभी


9. निम्नलिखित गद्यांश को पढ़कर पूछे गए प्रश्नों के उत्तर के लिए सही विकल्प का चयन कीजिए-

ऐसा नही हैं कि शैलेंन्द्र बीस सालों तक फिल्म इंडस्ट्री में रहते हुए भी वहाँ के तौर-तरीकों से नावाकिफ थे, परंतु उनमें उलझकर वे अपनी आदमियत नहीं खो सके। श्री 420 का एक लोकप्रिय गीत है- प्यार हुआ, इकरार हुआ है, प्यार से फिर क्यूँ डरता है दिल । इसके अंतरे की एक पंक्ति – रातें दसों दिशाओं से कहेंगी अपनी कहानियाँ पर संगीतकार जयकिशन ने आपत्ति की। उनका खयाल था कि दर्शक चार दिशाएँ तो समझ सकते हैं- दस दिखाएँ नहीं। लेकिन शैलेंद्र परिवर्तन के लिए तैयार नहीं हुए। उनका दृढ़ मंतव्य था कि दर्शकों की रूचि की आड़ में हमें उथलेपन को उन पर नहीं थोपना चाहिए। कलाकार का यह कर्त्तव्य भी है कि वह उपभोक्ता की रूचियों का परिष्कार करने का प्रयत्न करें और उनका यकीन गलत नहीं था । यही I नहीं, वे बहुत अच्छे गीत भी जो उन्होने लिखे बेहद लोकप्रिय हुए। शैलेंद्र ने झूठे अभिजात्य को कभी नहीं अपनाया। उनके गीत भावप्रवण थे- दुरूह नहीं। मेरा जूता है जापानी, ये पतलून इंगलिस्तानी सर पे लाल टोपी रूसी, फिर भी दिल है। ‘हिंदुस्तानी’ – यह गीत शैलेंद्र ही लिख सकते थे। शांत नदी का प्रवाह और समुद्र की गहराई लिए हुए । यही विशेषता उनकी जिंदगी की थी और यही उन्होंने अपनी फिल्म के द्वारा भी साबित किया था।

(1) श्री 420 का एक लोकप्रिय गीत है- प्यार हुआ, इकरार हुआ है, प्यार से फिर क्यूँ डरता है दिल । इसके अंतरे की एक पंक्ति – रातें दसों दिशाओं से कहेंगी अपनी कहानियाँ पर संगीतकार जयकिशन द्वारा आपत्ति करने के कारणों पर विचार कीजिए और उचित विकल्प का चयन कीजिए-

(i) उनका खयाल था कि दर्शक चार दिशाएँ तो समझ सकते हैं- दस दिखाएँ नहीं ।

(ii) उनका दृढ़ मंतव्य था कि दर्शकों की रूचि की आड़ में हमें उथलेपन को उन पर नहीं थोपना चाहिए ।

(iii) उनके अनुसार कलाकार का यह कर्त्तव्य भी है कि वह उपभोक्ता की रूचियों का परिष्कार करने का प्रयत्न करें।

(iv) उनका दृढ़ मंतव्य था कि दर्शकों की रूचि की आड़ में हमें उथलेपन को उन पर थोपना चाहिए ।

(क) केवल (i)

(ख) (i) और (ii)

(ग) केवल (iii)

(घ) केवल (iv)

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उत्तर : (क) केवल (i)


(2) फिल्म इंडस्ट्री के तौर-तरीकों में उलझकर शैलेंद्र क्या नहीं खोना चाहते थे?

(क) अपनी इज्जत

(ख) अपनी आदमियत

(ग) अपनी पहचान

(घ) अपनी दौलत

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उत्तर : (ख) अपनी आदमियत


(3) निम्नलिखित कथन (A) तथा कारण (R) को ध्यानपूर्वक पढ़िए । उसके बाद दिए गए विकल्पों में से कोई सही विकल्प चुनकर लिखिए ।

कथन (A) : संगीतकार जयकिशन को गीत की एक पंक्ति पर आपत्ति थी ।

कारण (R) जयकिशन के अनुसार वह पंक्ति गीत से मेल नहीं खाती थी।

(क) कथन (A) तथा कारण (R) दोनों गलत है।

(ख) कथन (A) गलत है लेकिन कारण (R) सही है।

(ग) कथन (A) सही है लेकिन कारण (R) उसकी गलत व्याख्या करता है

(घ) कथन (A) तथा कारण (R) दोनों सही हैं तथा कारण (R) कथन (A) की सही व्याख्या करता है ।

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उत्तर : (ग) कथन (A) सही है लेकिन कारण (R) उसकी गलत व्याख्या करता है


(4) कलाकार का कर्तव्य है कि

(क) वह उपभोक्ता की रूचियों का परिष्कार करें

(ख) वह उपभोक्ता की रूचियों की चिंता न करें

(ग) वह अधिक-से-अधिक धन कमाए

(घ) वह उपभोक्ता की रूचियों को बढ़ाए

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उत्तर : (क) वह उपभोक्ता की रूचियों का परिष्कार करें


(5) गद्यांश से मेल खाते वाक्यों पर विचार कीजिए और उचित विकल्प का चयन कीजिए-

(क) एक कलाकार को उसकी मेहनत के लिए पैसे नहीं मिलते बल्कि उसकी दूरदृष्टि के लिए मिलते हैं ।

(ख) ऐसे कलाकार जो हर चीज में पूर्णता चाहते हैं वो इसे किसी भी चीज में नहीं पा पाते।

(ग) कला या तो साहित्यिक चोरी है या फिर क्रांति ।

(घ) सभी कलाकार पहले नौसिखिया थे ।

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उत्तर : (क) एक कलाकार को उसकी मेहनत के लिए पैसे नहीं मिलते बल्कि उसकी दूरदृष्टि के लिए मिलते हैं ।


10. निम्नलिखित प्रश्नों के उत्तर देने के लिए उचित विकल्प का चयन कीजिए-

(1) पतझर में टूटी की पत्तियाँ पाठ के दोनो प्रसंग प्रेरणा देते हैं-

(i) शिष्ट और सभ्य बनने की

(ii) आदर्शवादी बनने की

(iii) जागरूक और सक्रिय नागरिक बनने की

(iv) व्यवहारवादी बनने की

कूट-

(क) केवल (i)

(ख) (i) और (ii)

(ग) केवल (iii)

(घ) केवल (iv)

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उत्तर : (ग) केवल (iii)


(2) कर्नल कालिंज का खेमा जंगल में क्यों लगा हुआ था ?

(क) वजीर अली को पकड़ने के लिए

(ख) शेर को पकड़ने के लिए

(ग) आजादी की जंग के लिए

(घ) उपर्युक्त में से कोई नही

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उत्तर : (क) वजीर अली को पकड़ने के लिए


खंड – ब (वर्णनात्मक प्रश्न)

11. निम्नलिखित प्रश्नों में से किन्हीं दो प्रश्नों के उत्तर लगभग 60 शब्दों में दीजिए-

(1) बड़े भाई साहब को स्वभाव से अध्ययनशील बताने के पीछे लेखक का क्या तात्पर्य है?

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उत्तर : इस में गहरा व्यंग्य है कि बड़े भाई साहब स्वभाव से अध्ययनशील थे। लेखक का तात्पर्य है कि किताबों में खोए रहना उनकी आदत बन गई थी। चाहे पढ़ें या न पढ़ें, परंतु किताबें उनके हाथ में हमेशा रहती थी। वे पढ़ाई में लगे रहते थे । यहाँ तक कि उनके चेहरों की रौनक भी चली गई थी। कभी वे पढ़ाई न भी करते हों तो खाली समय में हाशियों पर पशु-पक्षियों के चित्र बनाया करते थे । अर्थात् किताबों कॉपियों से जुड़े रहना उनका स्वभाव बन गया था। इसलिए ही लेखक ने उन्हें स्वभाव से अध्ययनशील कहा है।


(2) शायव पुलिस अपना रंग न दिखलावे पर वह कब रुकने वाली थी – इस पक्ति का आशय स्पष्ट कीजिए।

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उत्तर : 26 जनवरी 1931 के दिन भारतीयों दवारा मोनुमेंट के नीचे झंडा फहराने की तैयारियाँ हो रही थी। सुबह से ही लोग तैयारियों में जुटे थे। यह बात अवश्य है कि दोपहर के समय पुलिसकर्मी कुछ ढीले पड़ गए थे। उनके व्यवहार को देखकर लोगों को लगा कि शायद क्रांतिकारियों को अपने प्रदर्शन में बाधा नहीं आएगी परंतु अंग्रेजी पुलिस के मन में दयाभाव नाममात्र भी नहीं था। भारतीयों की आशा के विपरीत पुलिस वालों ने निर्दयता से लाठियां चलाई। अनेक लोग घायल हो गए। कईयों को गिरफ्तार भी कर लिया गया।


(3) गाँव वालों की तताँरा – वामीरो के प्रति क्या प्रतिक्रिया थी?

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उत्तर : कहते हैं- इश्क और मुश्क छिपाए नहीं छिपता । तताँरा-वामीरो के प्यार के किस्से भी गाँव भर में मशहूर होने लगे। गाँव वालों की प्रतिक्रिया यह थी कि उन्हें तताँरा – वामीरो के मिलन पर आपत्ति थी। वे दोनों दो भिन्न-भिन्न गाँव के रहने वाले थे। उस समय की परंपरा के अनुसार दो भिन्न गाँवों के लोग विवाह- बंधन में नहीं बँध सकते थे। इसलिए गाँव वाले उनके विरुद्ध हो गए और तताँरा को बुरी तरह अपमानित भी किया ।


12. निम्नलिखित प्रश्नों में से किन्हीं दो प्रश्नों के उत्तर लगभग 60 शब्दों में दीजिए-

(1) ‘मनुष्यता’ कविता में कवि ने सबको एक होकर चलने की प्रेरणा क्यों दी है? इसके क्या लाभ हैं? स्पष्ट कीजिए ।

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उत्तर :’मनुष्यता’ कविता में कवि मैथिलीशरण गुप्त ने सबको एक होकर चलने की प्रेरणा दी है क्योंकि इससे आपसी मेल- भाव बढ़ता है तथा हमारे सभी काम सफल हो जाते हैं। यदि हम सभी एक होकर चलेंगे तो जीवन मार्ग में आने वाली हर विघ्न-बाधाओं पर विजय पा लेंगे। जब सबके द्वारा एक साथ प्रयास किया जाता है तो वह सार्थक सिद्ध होता है। सबके हित में हर एक का हित निहित होता है। आपस में एक दूसरे का सहारा बनकर आगे बढ़ने से प्रेम व सहानुभूति के संबंध बनते हैं तथा परस्पर शत्रुता एवं भिन्नता दूर होती है। इससे मनुष्यता को बल मिलता है । कवि के अनुसार यदि हम एक दूसरे का साथ देंगे तो हम प्रगति के पथ पर अग्रसर हो सकेंगे।


(2) पर्वत प्रदेश में पावस कविता में वर्णित प्रकृति में दृश्यों का वर्णन अपने शब्दों में लिखिए ।

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उत्तर : प्रकृति प्रेमी कविवर सुमित्रानंदन पंत ने पर्वत प्रदेश में वर्षा ऋतु का मनोहारी चित्रण किया है। वर्षा का जल नीचे एकत्र होता है तो मानो तालाब – सा भर उठता है तथा बादलों के ऊपर धुंआ उठता प्रतीत होता है। स्थान-स्थान पर वेगपूर्ण बहते झरने मनमोहक लगते हैं। वे पर्वत का गुणगान करते जान पड़ते हैं। बादल गरज – गरज कर बरसते हैं तथा बार-बार बिजली चमकती रहती है। पेड़ों की हरियाली, वर्षा से नहाए पेड़-पौधे स्वच्छ एवं आकर्षक लगते हैं। पानी की अधिकता से लगता है मानो आकाश टूटकर धरती पर ही गिर गया हो। चारों ओर जलमय सृष्टि देखने को मिलती है।


(3) “कर चले हम फिदा – कविता में कवि ने किस काफिले को आगे बढ़ाते रहने के लिए कहा है? क्यों?

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उत्तर : इस कविता में काफिले शब्द का प्रयोग उन देश प्रेमियों के लिए किया गया है जो अपनी मातृभूमि की रक्षा के लिए अपना बलिदान हँसते-हँसते दे देते हैं। कवि की अपेक्षा यह है कि ऐसे वीर सूपतों का जन्म बार – बार होगा और अपनी मातृभूमि की रक्षा के लिए प्राणों का उत्सर्ग देने वाले सैनिकों को काफिला यूँही सजता रहेगा। इसी आशा से कवि ने इस काफिले को आगे बढ़ाते रहने को कहा है I


13. निम्नलिखित प्रश्नों में से किन्हीं दो प्रश्नों के उत्तर लगभग 60 शब्दों में दीजिए-

(1) हरिहर काका के जीवन के अनुभवों से हमें क्या सीख मिलती है ? ‘हरिहर काका’ पाठ के आधार पर लिखिए ।

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उत्तर : प्रस्तुत कहानी में ग्रामीण पारिवारिक जीवन और आस्था के प्रतीक धर्मस्थलों में अपने पाँव फैला रही स्वार्थ प्रवृत्ति को प्रस्तुत किया गया है । हरिहर के पास 15 बीघा जमीन है। उसके लिए उनका परिवार और ठाकुरबारी के महंत उनके पीछे पड़ जाते हैं। इन सब सांसारिक चक्रों में फँसकर हरिहर काका को ज्ञात हुआ कि अपने साथ तो कुछ जाएगा नहीं, सब यहीं रह जाना है। अतः उन्होंने सोच लिया कि अपने जीते जी अपनी जमीन किसी के नाम नहीं करेंगे। अगर जमीन किसी को दी तो उनका जीवन नरक बन जाएगा। अतः इस पाठ से हमें यह शिक्षा मिलती है। कि हमें स्वार्थ के वशीभूत होकर किसी बुजुर्ग को सताना नहीं चाहिए। उनकी सेवा करनी चाहिए ।


2) गरीब घरों के लड़कों का स्कूल जाना क्यों कठिन था? ‘सपनों के-से दिन’ पाठ के आधार पर लिखिए ।

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उत्तर : गरीब घरों के लड़कों का स्कूल जाना इसलिए कठिन था क्योंकि एक तो निर्धनता ही सबसे बड़ी बाधा थीं शुल्क, गणवेश आदि खरीदने के लिए ऐसे परिवार पैसे व्यय नहीं करते थे। दूसरे बच्चों को ही पढ़ाई में रुचि नहीं थी और न ही परिवार वाले पढ़ाई की अनिवार्यता मानते और समझते थे। बच्चों के थोड़ा बड़ा होने पर उन्हें किसी पारिवारिक व्यवसाय, कहीं हिसाब-किताब लिखने आदि में झोंक दिया जाता था।


(3) टोपी पढ़ने में बहुत तेज़ था, फिर भी वह दो बार फेल हो गया। उसकी पढ़ाई में क्या बाधाएँ आ जाती थीं? ‘टोपी शुक्ला’ पाठ के आधार पर लिखिए ।

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उत्तर : टोपी पढ़ने में बहुत तेज़ था, फिर भी वह दो फेल हो गया क्योंकि पहले साल उसे पढ़ने ही नहीं दिया गया । वह जब भी पढ़ने बैठता, उसके बड़े भाई मुन्नी बाबू को कोई काम निकल आता था या उसकी माँ रामदुलारी को कोई ऐसी चीज़ मँगवानी पड़ जाती थी, जो घर के नौकरों से नहीं मँगवाई जा सकती थी और रही सही कसर उसका छोटा भाई भैरव उसकी कॉपियों के पन्नों से हवाई जहाज़ बनाकर पूरा कर डालता था तथा दूसरे वर्ष परीक्षा के दिनों में उसे टाइफाइड हो गया था।


14. निम्नलिखित में से किसी एक विषय पर संकेत बिंदुओं के आधार पर लगभग 100 शब्दों में अनुच्छेद लिखिए-

(1) कोरोना वायरस

• कोरोना वायरस का संक्रमण

• लॉकडाउन के सकारात्मक प्रभाव

• बचाव के उपाय

(2) संघर्ष की परिणति विजय

• संघर्षशील जीवन

• चुनौती और संघर्ष

• विजय की खुशी

(3) याद आता है विद्यालय का प्रांगण

• विद्यालय की मस्ती

• मित्रों का साथ

• कक्षा की पढ़ाई

उत्तर :

(1) कोरोना वायरस

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विश्व स्वास्थ्य संगठन ने कोरोना वायरस अर्थात् COVID-19 को एक महामारी घोषित किया हैं। इस महामारी की शुरुआत चीन के वुहान शहर से हुई। लेकिन धीरे-धीरे यह महामारी दुनिया के प्रत्येक देश में फैल गई। यह वायरस बेहद जानलेवा हैं और इसका संक्रमण एक इंसान से दूसरे इंसान में बहुत तेजी से होता है। इसके संक्रमण के शुरुआत में जुकाम, खांसी और सांस लेने में तकलीफ जैसी समस्या होती है। यह वायरस इंसान के फेफड़ों में सीधा असर करता है। इस बीमारी के संक्रमण से लाखों लोग अब तक अपनी जान गँवा बैठे हैं और लाखों लोग अभी भी संक्रमित हैं । कोरोना वायरस से बचाव के लिए कुछ समय के लिए कई देशों में लॉकडाउन किया गया जिसके कई सकारात्मक प्रभाव देखने को मिले। सबसे बड़ा सकारात्मक प्रभाव तो यह रहा कि लोग अपने घरों में रहने के कारण व सामाजिक दूरी बनाने के कारण इस बीमारी की चपेट में आने से बचे रहें दूसरा सभी वाहनों, कल कारखानों, उद्योग धंधों, ऑफिस व स्कूलों के बंद होने से प्रदूषण के स्तर में काफी कमी आई। प्रकृति को भी अपने आप को एक बार शुद्ध, साफ व स्वस्थ होने का मौका मिला। लोगों ने अपने घर परिवार व अपने परिजनों के साथ खूब समय बिताया और सबसे अच्छी बात यह रही कि ओजोन परत के स्वास्थ्य में भी सुधार देखने को मिला। कोरोना वायरस से बचने के लिए कुछ देशों ने वैक्सीन बना ली है और लोगों का टीकाकरण बहुत तेजी से किया जा रहा है, परंतु जब तक शत-प्रतिशत टीकाकरण नहीं हो जाता सावधानी व सामाजिक दूरी ही इसका एकमात्र बचाव है। इसीलिए हमें लोगों के संपर्क में आने से बचना चाहिए, भीड़भाड़ वाले इलाकों, सामाजिक समारोह या कार्यक्रमों से दूरी बनाए रखनी चाहिए और साफ-सफाई का भी पूरा ध्यान रखना चाहिए।


(2) संघर्ष की परिणति विजय

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संघर्ष का दूसरा नाम ही जीवन है ये एक प्रकार से पर्यायवाची है। और एक-दूसरे के पूरक भी जीना तो उसी का है, जिसने जीवन के सूत्र को समझ लिया, भयंकर से भयंकर और विपरीत स्थिति पर विजय पाने का एक ही रास्ता है पूरे आत्मविश्वास के साथ बाधा-विरोधों से जूझ जाना, संघर्ष करना, जो संघर्ष से बचकर चले, वह कायर है। संसार रूपी सागर की ऊँची-उफनती लहरों को जिसने चुनौती देना सीख लिया है, सफलता की अनुपम – मणियाँ उसी ने बटोरी हैं। जो डर कर किनारे बैठ गया, वह तो जीवन का दाव ही हार गया। कबीर ने इसी भाव को इस तरह व्यक्त किया है- ‘जिन खोजा तिन पाइया, गहरे पानी पैठ ।’ यह गहरे पानी पैठकर खोजना क्या है? यही संघर्ष अथवा चुनौती को स्वीकारना है, कर्म की आँच में तपना है। यही गीता का भी अमर संदेश है कि ‘कर्म करना ही मनुष्य का अधिकार है और धर्म भी । जीवन-पथ पर सफलता मिले या विफलता, संघर्ष करने का संकल्प शिथिल नहीं पड़ना चाहिए। जिसमें अपने उसूलों पर अटल रहने की दृढ़ता है, जिसका संकल्प सच्चा है, वही जीवन के संघर्ष में विजयी होता है। जीवन में विपत्तियाँ सभी को सहनी पड़ती है। जीवन में भले ही कितने संकट आए, परंतु जो व्यक्ति अपने मार्ग से विचलित नहीं होता, जो कष्टों का साहस से सामना करता है, जो यह मानता है कि कर्म ही जीवन है और यह मानकर सदा कर्म, प्रयत्न, परिश्रम में लगा रहता है, वस्तुतः वही मनुष्य जीवन में विजय (सफलता) प्राप्त करता है। इस विजय की खुशी किसी भी खुशी से बढ़कर होती है।


(3) याद आता है विद्यालय का प्रांगण

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विद्यालय की यादें हर किसी को याद रहती हैं। विद्यालय के मित्र, विद्यालय के अध्यापक विद्यालय की क्लास एवं प्यारा सा सुंदर विद्यालय सच में बहुत ही याद आता है। मैं विद्यालय सुबह-सुबह जाने के लिए जल्दी तैयार हो जाता था। सिर्फ यह सोचकर कि मेरे मित्र विद्यालय में मुझे मिलेंगे। मैं उनके साथ बातें करूँगा, खेलूँगा, साथ में पढ़ाई करूँगा । यही सोच मुझे काफी खुश कर देती थी । विद्यालय में पढ़ाई करना भी मुझे पसंद था। मेरे सभी अध्यापक मुझे बहुत पसंद करते थे। मैं विद्यालय की अपनी क्लास का मॉनिटर था। मेरे विद्यालय की क्लास के सभी साथी मेरा बहुत सम्मान करते थे। अक्सर जब मेरे मित्रों को कुछ समझ नहीं आता था तो वे खाली समय में मुझसे ही अपनी समस्याओं का समाधान लेते थे । विद्यालय के दिनों में हम कई बार रविवार के दिनों में बाहर घूमने को भी जाते थे। हम विद्यालय के लंच के समय में बहुत ही खुश रहते थे। हमारे में विद्यालय में बने पार्क में हम सभी मित्र आपस में बातचीत करते रहते थे। हम परिवार के सदस्यों के समान ही मिलजुल कर खाना खाते थे और काफी खुश रहते थे। जब भी विद्यालय की घंटी बजती थी तो हम अपनी अपनी क्लास में आ जाते थे। हम सब विद्यालय में काफी खुश रहते थे और सोचते थे कि काश विद्यालय के दिन कभी खत्म ना हो लेकिन एक समय ऐसा आया जब विद्यालय को आखिरकार अलविदा कहना पड़ा। आज मैं भले ही कॉलेज में पढ़ता हूँ लेकिन अक्सर वो विद्यालय का प्रांगण याद आता है।


15. (1) बिजली की अनियमित आपूर्ति की शिकायत करते हुए जयपुर विद्युत बोर्ड के अधिकारी को लगभग 100 शब्दों में एक पत्र लिखिए।

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उत्तर :

सेवा में,

विद्युत विभाग अधिकारी,

जयपुर विद्युत बोर्ड,

जयपुर, राजस्थान

दिनांक 18 अक्टूबर, 20xx

विषय : बिजली की अनियमित आपूर्ति की शिकायत हेतु ।

आदरणीय महोदय,

मैं जयपुर के मानसरोवर का निवासी अभय शर्मा आपको अपने क्षेत्र में पिछले 3 महीनों से चल रही बिजली की अनियमित आपूर्ति से अवगत कराना चाहता हूँ।

महोदय, हमारे यहाँ हमेशा से ही शाम को एक घण्टा बिजली नहीं आती थी, किन्तु इसके लिए हम सब तैयार थे। पिछले पाँच महीनों से तो किसी भी समय दो से तीन घण्टे के लिए बिजली चली जाती है और आती भी है तो वोल्टेज इतना कम होता है कि कुछ उपकरण तो काम ही नहीं कर पाते।

जयपुर जैसे शहर में यदि यह हालत है तो हमारे गाँवों की दशा क्या होगी, इसकी हम कल्पना कर सकते हैं। आज के समय में अधिकांश काम बिजली के बिना रूक जाते हैं। अतः मेरी आपसे प्रार्थना है कि जल्द ही इस समस्या की तह में जाइए तथा हमें इस संकट से मुक्त कीजिए । आशा है, आप शीघ्र ही उचित कदम उठायेंगे।

सधन्यवाद।

भवदीय


अथवा

(2) अपने विद्यालय में पीने के पानी की समुचित व्यवस्था हेतु प्रधानाचार्य को लगभग 100 शब्दों में एक प्रार्थना-पत्र लिखिए।

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उत्तर :

सेवा में,

प्रधानाचार्य महोदय,

स्वामी दयानन्द मॉडल स्कूल,

दुर्गापुरा ।

दिनांक : 29 सितम्बर, 20xx

विषय: विद्यालय में पीने के पानी की समुचित व्यवस्था हेतु प्रार्थना ।

महोदय,

इस प्रार्थना-पत्र के माध्यम से मैं आपका ध्यान विद्यालय में पीने के पानी की समुचित व्यवस्था न होने के कारण विद्यार्थियों को होने वाली कठिनाइयों की ओर आकर्षित करना चाहता हूँ। हमारे विद्यालय में विद्यार्थियों की संख्या के अनुपात में नलों की संख्या बहुत कम जिसके कारण नलों पर हर समय पानी पीने वाले छात्रों का जमघट लगा रहता है। इससे छात्रों को काफी असुविधा होती है तथा उनका काफी समय भी नष्ट होता है।

आशा है कि आप इस समस्या को दूर करने के लिए शीघ्र कदम उठाएँगे। इससे छात्रों को बहुत सुविधा मिलेगी।

सधन्यवाद ।

आपका आज्ञाकारी शिष्य,

विनोद सिंह

कक्षा दसवीं स

अनुक्रमांक- 16


16. निम्नलिखित में से किसी एक विषय पर लगभग 60 शब्दों में सूचना लिखिए-

(1) आपके विद्यालय में नेत्र चिकित्सा शिविर लगाया जा रहा है। प्रधानाचार्य की ओर से छात्रों को इसकी सूचना लगभग 60 शब्दों में जारी करें।

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उत्तर :


अथवा

(2) शिक्षक दिवस के अवसर पर कार्यक्रम आयोजन करने के लिए आपको संयोजक बनाया गया है। कार्यक्रम के बारे में विद्यार्थियों की सभा के लिए एक सूचना लगभग लगभग 60 शब्दों में जारी करें।

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उत्तर :


17. निम्नलिखित में से किसी एक विषय पर लगभग 40 शब्दों में विज्ञापन तैयार कीजिए-

(1) विद्यालय के वार्षिकोत्सव के अवसर पर विद्यार्थियों द्वारा निर्मित हस्तकला की वस्तुओं की प्रदर्शनी के प्रचार हेतु लगभग 40 शब्दों में एक विज्ञापन लिखिए ।

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उत्तर :


अथवा

(2) इस बरसात में आपने कुछ पौध तैयार की हैं। जिन्हें आप निःशुल्क वितरित करना चाहते हैं। सोसायटी सचिव की तरफ से लगभग 40 शब्दों में एक विज्ञापन तैयार कीजिए ।

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उत्तर :


18 (1) ‘छोटी भूल का बड़ा दुष्परिणाम’ विषय पर लघुकथा लगभग 100 शब्दों में लिखिए।

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उत्तर : छोटी भूल का बड़ा दुष्परिणाम

कलंग देश का राजा मधुपर्क, एक बार जब खा रहा था। उसके प्याले में थोड़ा सा शहद टपक कर जमीन पर गिर पड़ा। उसने उसे साफ करने के लिए हाथ बढ़ाया ही था कि उसके दिमाग में ये ख्याल आया कि अरे! मैं क्यूँ साफ करूँ, मैं तो राजा हूँ। नौकर आएगा साफ करेगा ।

नौकर आया, पर उसका ध्यान उस तरफ नहीं गया और वो उसे साफ किए बगैर ही चला गया। हुआ ये कि उस शहद को चाटने मक्खियाँ आ गई। मक्खियों को इकट्टी देख छिपकली ललचाई और उन्हें खाने के लिए आ पहुँची । छिपकली को मारने बिल्ली पहुँची, जो कि राजमहल में ही रहती थी। इतना ही कम नहीं था कि राजमहल के बाहर बगीचे में घूम रहे कुत्ते वहाँ पर किसी तरह से आ पहुँचे और बिल्ली पर दो-तीन कुत्ते टूट पड़े। बिल्ली तो किसी तरह भाग गई, पर कुत्ते आपस में लड़कर घायल हो गए। कुत्ते के मालिक को जब ये बात पता चली तो वे वहाँ पहुँचे। कुत्तों के मालिक अपने-अपने कुत्तों के पक्ष का समर्थन करने लगे और दूसरे का दोष बताने लगे। इस पर लड़ाई ठन गई। लड़ाई में दोनों ओर की भीड़ बढ़ी और आखिर सारे शहर में बवाल हो गया। दंगाइयों को मौका मिला तो सरकारी खजाना लूटा और राजमहल में आग लगा दी।

जब ये सब शांत हुआ और राजा ने इतने बड़े उपद्रव का कारण पूछा तो मंत्री ने जाँचकर बताया कि आपके द्वारा असावधानी से गिराया हुआ थोड़ा सा शहद ही इतने बड़े दंगे का कारण बना। तब राजा समझा कि छोटी सी असावधानी भी मनुष्य के लिए कितना बड़ा संकट उत्पन्न कर सकती है।


अथवा

(2) आपके विद्यालय का नया सत्र आरंभ हो गया है लेकिन बाजार में अभी तक आपकी हिंदी की पाठ्यपुस्तक उपलब्ध नहीं है। इस संदर्भ में एनसीईआरटी के व्यापार प्रबंधक को लगभग 100 शब्दों में एक ई-मेल लिखिए।

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