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Class X – Hindi A – Sample Paper – 3

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हिन्दी – अ ( कोड-002 )

निर्धारित समय 3 घंटे                                                                                      पूर्णांक 80

सामान्य निर्देश-

1. इस प्रश्नपत्र में दो खंड हैं- खंड ‘क’ और ‘ख’ । खंड-क में वस्तुपरक / बहुविकल्पी और खंड – ख में वर्णनात्मक प्रश्न दिए गए हैं।

2. प्रश्नपत्र के दोनों खंडों में प्रश्नों की संख्या 17 है और सभी प्रश्न अनिवार्य हैं।

3. यथासंभव सभी प्रश्नों के उत्तर क्रमानुसार लिखिए।

4. खंड ‘क’ में कुल 10 प्रश्न हैं। जिनमें उपप्रश्नों की संख्या 44 है। दिए गए निर्देशों का पालन करते हुए 40 उपप्रश्नों के उत्तर देना अनिवार्य है।

5. खंड ‘ख’ में कुल 7 प्रश्न हैं, सभी प्रश्नों के साथ उनके विकल्प भी दिए गए हैं। निर्देशानुसार विकल्प का ध्यान रखते हुए सभी प्रश्नों के उत्तर दीजिए ।

खंड-क (बहुविकल्पी / वस्तुपरक प्रश्न )

1. निम्नलिखित गद्यांश पर आधारित बहुविकल्पी / वस्तुपरक प्रश्नों के उत्तर सर्वाधिक उपयुक्त विकल्प चुनकर लिखिए – (1 x 5 = 5) एक जमाना था जब मुहल्लेदारी पारिवारिक आत्मीयता से भरी होती थी। सब मिल-जुलकर रहते थे। हारी-बारी, खुशी – गम, सबमें लोग एक-दूसरे के साथ थे। किसी का किसी से कुछ छिपा नहीं था। आज के लोगों को शायद लगे कि लोगों की अपनी प्राइवेसी’ क्या रही होगी, लेकिन इस प्राइवेसी के नाम पर ही तो हम एक-दूसरे से कटते रहे और कटते कटते ऐसे अलग हुए कि अकेले पड़ गए। पहले अलग चूल्हे-चौके हुए, फिर अलग मकान लेकर लोग रहने लगे, निजी स्वतंत्रता को अपनी नई परिभाषा देकर यह एकाकीपन हमने स्वयं अपनाया है। मुहल्ले में आपस में चाहे जितनी चखचख हो, यह थोड़े ही संभव था कि बाहर का कोई आकर किसी को कड़वी बात कह जाए। पूरा मोहल्ला टिड्डी- -दल की तरह उमड़ पड़ता था ।

देखते-देखते कैसा रंग बदला है। लोग अपने-आपमें सिमटकर पैसे के पीछे भागे जा रहे हैं। सारे रिश्ते-नातों को उन्होंने ताक पर रख दिया है, तब फिर पड़ोसी से उन्हें क्या लेना-देना है। यह नीरस महानगरीय सभ्यता महानगरों से चलकर कस्बों और देहातों तक को अपनी चपेट में ले चुकी है। मकानों में रहने वाले एक-दूसरे को नहीं जानते। इन जगहों में आदमी का अस्तित्व समाप्त हो गया है। यदि आपको फ्लैट नंबर मालूम नहीं है तो उसी बिल्डिंग में जाकर भी वांछित व्यक्ति को नहीं ढूँढ़ पाएँगे। ऐसी जगहों में किसी प्रकार के संबंध की अपेक्षा ही कहाँ की जा सकती है।

(1) प्राइवेसी’ से क्या तात्पर्य है?

(क) निजता

(ख) आत्मीयता

(ग) मेलजोल

(घ) भाईचारा

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Ans. (क) निजता


(2) आजकल के व्यक्ति को ‘प्राइवेसी’ के नाम पर प्राप्त हुआ है-

(क) अलगाव और अकेलापन

(ख) अपने में ही सीमित होने का आनंद

(ग) संयुक्त परिवार की समस्याओं से मुक्ति

(घ) मुहल्ले के झंझटों से छुटकारा

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Ans. (क) अलगाव और अकेलापन


(3) गद्यांश के अनुसार, मुहल्लेदारी के बारे में सच है-

कथन पढ़कर सही विकल्प का चयन कीजिए-

कथन

(i) आपस में मिल-जुलकर रहना

(ii) दुख-सुख में साथ देना

(iii) अपनी बात किसी से गुप्त न रखना

(iv) आस-पड़ोस का हस्तक्षेप पसंद न करना

विकल्प

(क) कथन (i) सही है

(ख) कथन (ii) व (iii) सही हैं

(ग) कथन (i), (ii) व (iv) सही हैं

(घ) कथन (iii) व (iv) सही हैं

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Ans. (ग) कथन (i), (ii) व (iv) सही हैं


(4) आज बहुत कठिनाई से प्राप्त होने वाली वस्तु है-

(क) संबंधों की महत्ता

(ख) धन-संपत्ति

(ग) आत्मीयता

(घ) वैचारिक स्वतंत्रता

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Ans. (ग) आत्मीयता


(5) कथन (A) और कारण (R) को पढ़कर उपयुक्त विकल्प चुनिए-

कथन (A) पुराने समय में मुहल्लेदारी पारिवारिक आत्मीयता से भरी होती थी।

कारण (R) पूरा मुहल्ला टिड्डी दल की तरह उमड़ पड़ता था ।

(क) कथन (A) गलत है, किंतु कारण (R) सही है

(ख) कथन (A) और कारण (R) दोनों ही गलत हैं

(ग) कथन (A) सही है और कारण (R) कथन (A) की सही व्याख्या है

(घ) कथन (A) सही है, किंतु कारण (R) कथन (A) की सही व्याख्या नहीं है

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Ans. (घ) कथन (A) सही है, किंतु कारण (R) कथन (A) की सही व्याख्या नहीं है


2. निम्नलिखित पद्यांश पर आधारित बहुविकल्पी प्रश्नों के सर्वाधिक उपयुक्त विकल्प चुनकर लिखिए-

तुम्हारी निश्चल आँखें

तारों-सी चमकती हैं मेरे अकेलेपन की रात के आकाश में

प्रेम पिता का दिखाई नहीं देता है

जरूर दिखाई देती होंगी नसीहतें

नुकीले पत्थरों-सी

दुनिया भर के पिताओं की लंबी कतार में

पता नहीं कौन-सा कितना करोड़वाँ नंबर है मेरा

पर बच्चों के फूलोंवाले बगीचे की दुनिया में

तुम अव्वल हो पहली कतार में मेरे लिए

मुझे माफ करना मैं अपनी मूर्खता और प्रेम में समझता था

मेरी छाया के तले ही सुरक्षित रंग-बिरंगी दुनिया होगी तुम्हारी

अब जब तुम सचमुच की दुनिया में निकल गई हो

मैं खुश हूँ सोचकर

कि मेरी भाषा के अहाते से परे है तुम्हारी परछाई ।

(1) पिता का प्रेम स्पष्ट प्रदर्शित नहीं होने का कारण है-

कथन पढ़कर सही विकल्प का चयन कीजिए-

कथन

(i) पिता स्वभाव से कठोर होते हैं।

(ii) पिता की बातों में नसीहतें अधिक होती हैं।

(iii) पिता के पास प्रेम व्यक्त करने का समय नहीं होता

(iv) पिता केवल क्रोध करना जानते हैं।

विकल्प

(क) कथन (i) और (iii) सही हैं

(ख) कथन (ii) और (iv) सही हैं

(ग) कथन (i) और (ii) सही हैं

(घ) कथन (ii) और (iii) सही हैं।

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Ans. (ग) कथन (i) और (ii) सही हैं


(2) पद्यांश में किसके अकेलेपन की बात की गई है?

(क) पिता के

(ख) माता के

(ग) पुत्र के

(घ) पुत्री के

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Ans. (क) पिता के


(3) प्रायः बच्चों को पिता की सीख कैसी लगती है?

(क) बहुत अच्छी

(ख) बहुत सुखद

(ग) नुकीले पत्थरों जैसी

(घ) काँटों जैसी

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Ans. (ग) नुकीले पत्थरों जैसी


(4) माता – पिता को अपना बच्चा सर्वश्रेष्ठ लगता है; क्योंकि-

(क) वह सुंदर होता है

(ख) उन्हें उससे अत्यधिक प्रेम होता है।

(ग) वह उनकी सेवा करता है।

(घ) वह उनका भविष्य होता है

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Ans. (ख) उन्हें उससे अत्यधिक प्रेम होता है।


(5) कथन (A) और कारण (R) को पढ़कर उपयुक्त विकल्प चुनिए-

कथन (A) बच्चों को पिता की बातें कम अच्छी लगती हैं।

कारण (R) : पिता की बातों में पत्थर-सी नुकीली नसीहतें होती हैं।

(क) कथन (A) गलत है, किंतु कारण (R) सही है।

(ख) कथन (A) और कारण (R) दोनों ही गलत हैं।

(ग) कथन (A) सही है और कारण (R) कथन (A) की सही व्याख्या है

(घ) कथन (A) सही है किंतु कारण (R) कथन (A) की सही व्याख्या नहीं है।

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Ans. (ग) कथन (A) सही है और कारण (R) कथन (A) की सही व्याख्या है


3. निर्देशानुसार ‘रचना के आधार पर वाक्य भेद’ पर आधारित पाँच बहुविकल्पी प्रश्नों में से किन्हीं चार प्रश्नों के उत्तर दीजिए-

(1) “उसने कहा कि मैं निर्दोष हूँ ।” मिश्र वाक्य को सरल वाक्य में परिवर्तित कीजिए-

(क) उसने अपने को निर्दोष बताया

(ख) उसने अपने को दोषी नहीं माना।

(ग) उसने कहा कि मैं दोषी नहीं हूँ ।

(घ) मैं निर्दोष हूँ उसने कहा ।

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Ans. (क) उसने अपने को निर्दोष बताया


(2) ज्योतिषी कहता है कि मैं सबका भविष्य जानता हूँ। रचना के आधार पर वाक्य भेद है-

(क) मिश्र वाक्य

(ख) सरल वाक्य

(ग) संयुक्त वाक्य

(घ) इनमें से कोई नहीं

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Ans. (क) मिश्र वाक्य


(3) “मैं वहाँ पहुँचा और दरवाजा बन्द हो गया ।” इस संयुक्त वाक्य को मिश्र वाक्य में बदलिए-

(क) उसके वहाँ पहुँचने पर दरवाजा बन्द हो गया।

(ख) ज्यों ही मैं वहाँ पहुँचा दरवाजा बन्द हो गया।

(ग) मेरे पहुँचते ही दरवाजा बन्द हो गया।

(घ) मैं पहुँचा कि दरवाजा बन्द हो गया ।

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Ans. (ख) ज्यों ही मैं वहाँ पहुँचा दरवाजा बन्द हो गया।


(4) निम्नलिखित वाक्यों में संयुक्त वाक्य पहचानकर नीचे दिए गए सबसे सही विकल्प को चुनिए-

कथन

(i) आप नाटक देखने जाएँगे या सिनेमा |

(ii) कछुए ने खरगोश को हरा दिया।

(iii) हम दोनों मंदिर गए और साथ-साथ पूजा की।

(iv) माँ ने कहा कि शाम को जल्दी लौट आना ।

विकल्प

(क) केवल कथन (i) सही है

(ख) कथन (i) व (ii) सही हैं

(ग) कथन (i) व (iii) सही हैं

(घ) कथन (i), (ii) व (iii) सही हैं

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Ans. (ग) कथन (i) व (iii) सही हैं


(5) कॉलम 1 को कॉलम 2 के साथ सुमेलित कीजिए और सही विकल्प चुनकर लिखिए-

विकल्प

(क) 1-iii, 2-i, 3-ii

(ख) 1-ii, 2-iii, 3-i

(ग) 1-ii, 2-i, 3-iii

(घ) 1-iii, 2-ii, 3-i

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Ans. (ग) 1-ii, 2-i, 3-iii


4. निर्देशानुसार ‘वाच्य’ पर आधारित पाँच बहुविकल्पी प्रश्नों में से किन्हीं चार प्रश्नों के उत्तर दीजिए-

(1) कॉलम 1 को कॉलम 2 के साथ सुमेलित कीजिए और सही विकल्प चुनकर लिखिए-

विकल्प

(क) 1-iii, 2-i, 3-ii

(ख) 1-ii, 2-iii, 3-i

(ग) 1-ii, 2-i, 3-iii

(घ) 1-iii, 2-ii, 3-i

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Ans. (ग) 1-ii, 2-i, 3-iii


(2) निम्नलिखित वाक्यों में भाव वाच्य का उदाहरण है-

कथन

(i) कल जीवनकाल द्वारा पेड़ पर चढ़ा गया ।

(ii) वह दिन मे दूध पीता है।

(iii) चिड़ियों से उड़ा नहीं गया।

(iv) नानी द्वारा कहानी सुनाई जाएगी।

विकल्प

(क) केवल (i) सही है

(ख) (i) व (ii) सही हैं

(ग) (i) व (iii) सही हैं

(घ) (i), (ii) व (iii) सही हैं

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Ans. (ग) (i) व (iii) सही हैं


(3) ‘आपको सूचित किया जाता है।‘ इस वाक्य में वाच्य है-

(क) कर्तृवाच्य

(ख) कर्मवाच्य

(ग) भाववाच्य

(घ) इनमें से कोई नहीं

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Ans. (ख) कर्मवाच्य


(4) मुझसे नहीं चला जाता। इस वाक्य में वाच्य है-

(क) कर्मवाच्य

(ख) भाववाच्य

(ग) कर्तृवाच्य

(घ) इनमें से कोई नहीं

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Ans. (ख) भाववाच्य


(5) हम रातभर कैसे जागेंगे? इस वाक्य का भाववाच्य में परिवर्तित सही विकल्प होगा-

(क) हमसे रातभर कैसे जागा जाएगा?

(ख) रातभर जागेंगे हम कैसे ?

(ग) हम रातभर किस प्रकार जागेंगे?

(घ) इनमें से कोई नहीं ।

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Ans. (क) हमसे रातभर कैसे जागा जाएगा?


5. निर्देशानुसार ‘पद परिचय’ पर आधारित पाँच बहुविकल्पी प्रश्नों में से किन्हीं चार प्रश्नों के उत्तर दीजिए-

(1) लक्ष्मी भावुक महिला है। इस वाक्य में रेखांकित पद का सही पद परिचय होगा-

(क) संज्ञा, गुणवाचक, पुल्लिंग, एकवचन

(ख) विशेषण, गुणवाचक, स्त्रीलिंग, एकवचन

(ग) विशेषण, गुणवाचक, पुल्लिंग, एकवचन

(घ) विशेषण, गुणवाचक, पुल्लिंग, बहुवचन

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Ans. (ख) विशेषण, गुणवाचक, स्त्रीलिंग, एकवचन


(2) यह घड़ी मेरी है। इस वाक्य में रेखांकित पद का सही पद परिचय होगा-

(क) सर्वनाम, निश्चयवाचक, एकवचन, पुल्लिंग ।

(ख) सर्वनाम, निश्चयवाचक, एकवचन, स्त्रीलिंग |

(ग) विशेषण, सार्वनामिक, एकवचन, स्त्रीलिंग |

(घ) विशेषण, सार्वनामिक, एकवचन, पुल्लिंग।

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Ans. (ग) विशेषण, सार्वनामिक, एकवचन, स्त्रीलिंग |


(3) मीरा मंदिर में रहती है। इस वाक्य में रेखांकित पद का सही पद परिचय होगा-

(क) व्यक्तिवाचक संज्ञा, एकवचन, स्त्रीलिंग, कर्ता कारक ।

(ख) व्यक्तिवाचक संज्ञा, बहुवचन, स्त्रीलिंग, कर्ता कारक ।

(ग) व्यक्तिवाचक संज्ञा, एकवचन, पुल्लिंग, कर्ता कारक ।

(घ) व्यक्तिवाचक संज्ञा, एकवचन, स्त्रीलिंग, कर्मकारक ।

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Ans. (क) व्यक्तिवाचक संज्ञा, एकवचन, स्त्रीलिंग, कर्ता कारक ।


(4) वाह! कितना सुंदर उपवन हैं। इस वाक्य में रेखांकित पद का सही पद परिचय होगा-

(क) अव्यय, विस्मयादिबोधक, हर्षबोधक

(ख) अव्यय, विस्मयादिबोधक आश्चर्यबोधक

(ग) अव्यय, विस्मयादिबोधक, व्यंग्यबोधक

(घ) अव्यय, विस्मयादिबोधक, प्रश्नबोधक

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Ans. (क) अव्यय, विस्मयादिबोधक, हर्षबोधक


(5) कितने सुगंधित फूल हैं! इस वाक्य में रेखांकित पद का सही पद परिचय होगा-

(क) विशेषण, गुणवाचक, एकवचन, पुल्लिंग, ‘फूल’ विशेष्य ।

(ख) विशेषण, गुणवाचक, बहुवचन, पुल्लिंग, फूल’ विशेष्य ।

(ग) विशेषण, गुणवाचक, बहुवचन, स्त्रीलिंग, फूल’ विशेष्य ।

(घ) विशेषण, गुणवाचक, एकवचन, स्त्रीलिंग, ‘फूल’ विशेष्य ।

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Ans. (ख) विशेषण, गुणवाचक, बहुवचन, पुल्लिंग, फूल’ विशेष्य ।


6. निर्देशानुसार ‘अलंकार’ पर आधारित पाँच बहुविकल्पी प्रश्नों में से किन्हीं चार प्रश्नों के उत्तर दीजिए-

(1) उषा सुनहले तीर बरसती ।

जय लक्ष्मी-सी उदित हुई ||

इन पंक्तियों में प्रयुक्त अलंकार है-

(क) श्लेष

(ख) उत्प्रेक्षा

(ग) मानवीकरण

(घ) अतिश्योक्ति

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Ans. (ग) मानवीकरण


(2) जो घनीभूत पीड़ा थी मस्तक में स्मृति सी छाई ।

दुर्दिन में आंसू बनकर आज बरसने आई ।।

इन पंक्तियों में प्रयुक्त अलंकार है-

(क) श्लेष

(ख) उत्प्रेक्षा

(ग) मानवीकरण

(घ) अतिश्योक्ति

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Ans. (क) श्लेष


(3) चमचमात चंचल नयन बिच घूँघट पट छीन ।

मनहु सुरसरिता विचल, जल उछरत जुग मीन ।।

इन पंक्तियों में प्रयुक्त अलंकार है-

(क) श्लेष

(ख) उत्प्रेक्षा

(ग) मानवीकरण

(घ) अतिश्योक्ति

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Ans. (ख) उत्प्रेक्षा


(4) फुले हैं कुमुद फूली मालती सघन बन ।

फूलि रहे तारे मनो मोती अनगिन हैं ।।

इन पंक्तियों में प्रयुक्त अलंकार है-

(क) श्लेष

(ख) उत्प्रेक्षा

(ग) मानवीकरण

(घ) अतिश्योक्ति

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Ans. (ख) उत्प्रेक्षा


(5) देखि सुदामा की दीन दशा करुना करिके करुना निधि रोए ।

इस पंक्ति में कौन-सा अलंकार प्रयुक्त हुआ है ?

(क) श्लेष

(ख) उत्प्रेक्षा

(ग) मानवीकरण

(घ) अतिश्योक्ति

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Ans. (घ) अतिश्योक्ति


7. निम्नलिखित पठित गद्यांश पर आधारित बहुविकल्पी प्रश्नों के सर्वाधिक उपयुक्त विकल्प चुनकर लिखिए-

गर्मियों में उनकी संज्ञा कितनी उमसभरी शाम को न शीतल करती ! अपने घर के आँगन में आसन जमा बैठते । गाँव के उनके कुछ प्रेमी भी जुट खाते । खँजड़ियों और करतालों की भरमार हो जाती। एक पद बालगोबिन भगत कह जाते, उनकी प्रेमी मंडली उसे दुहराती, तिहराती । धीरे-धीरे स्वर ऊँचा होने लगता – एक निश्चित ताल, एक निश्चित गति से उस ताल – स्वर के चढ़ाव के साथ श्रोताओं के मन भी ऊपर उठने लगते। धीरे-धीरे मन तन पर हावी हो जाता। होते-होते, एक क्षण ऐसा आता कि बीच में खंजड़ी लिए बालगोबिन भगत नाच रहे हैं और उनके साथ ही सबके तन और मन नृत्यशील हो उठे हैं। सारा आँगन नृत्य और संगीत से ओतप्रोत है!

(1) गर्मियों की संज्ञा में भगत के साथी कौन थे-

(क) पक्षी

(ख) गाँव के कुछ प्रेमी जन

(ग) वृक्ष

(घ) प्रकृति

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Ans. (ख) गाँव के कुछ प्रेमी जन


(2) संगीत के कार्यक्रम में किन वाद्यों को बजाया जाता था-

(क) खँजड़ियों और करतालों को

(ख) खँजड़ियों और ढोलक को

(ग) पियानो और बाँसूरी को

(घ) बाँसुरी और खँजड़ियों को

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Ans. (क) खँजड़ियों और करतालों को


(3) भगत के वादन- गायन की गति कैसी होती थी-

(क) धीरे-धीरे ऊँची होती थी।

(ख) धीरे-धीरे बंद हो जाती थी।

(ग) धीरे-धीरे नीचे होती थी ।

(घ) धीरे-धीरे ही रहती थी।

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Ans. (क) धीरे-धीरे ऊँची होती थी।


(4) भगत क्या लेकर नाचते थे-

(क) ढोलक

(ख) पक्षी

(ग) खँजड़ी

(घ) ढोलक और खँजड़ी

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Ans. (ग) खँजड़ी


(5) ताल स्तर के चढ़ाव का श्रोताओं पर क्या प्रभाव पड़ता था?

(क) उनके मन भी ऊपर उठने लगते थे

(ख) मन तन पर हावी हो जाता था

(ग) क और ख दोनों

(घ) उनके मन भारी होने लगते थे

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Ans. (ग) क और ख दोनों


8. ‘क्षितिज’ के गद्य पाठों के आधार पर निम्नलिखित दो बहुविकल्पी प्रश्नों के सर्वाधिक उपयुक्त विकल्प चुनकर लिखिए –

(1) ‘नेताजी का चश्मा के पाठ की कहानी में जब हालदार साहब ने कैप्टन के बारे में जानना चाहा तो पानवाले ने कैप्टन चश्मेवाले के बारे में क्या कहा?

(क) पागल

(ख) बुरा आदमी

(ग) फेरी लगानेवाला

(घ) अच्छा आदमी

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Ans. (क) पागल


(2) मुफस्सिल का क्या अर्थ होता है?

(क) नगर का मुख्य भाग

(ख) नगर का मुख्य चौराहा

(ग) नगर का प्रसिद्ध व्यक्ति

(घ) केंद्रस्थ नगर के इर्द-गिर्द का स्थान

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Ans. (घ) केंद्रस्थ नगर के इर्द-गिर्द का स्थान


9. निम्नलिखित पठित पद्यांश पर आधारित बहुविकल्पी प्रश्नों के सर्वाधिक उपयुक्त विकल्प चुनकर लिखिए-

कहेउ लखन मुनि सीलु तुम्हारा को नहि जान बिदित संसारा ।।

माता पितहि उरिन भये नीकें। गुररिनु रहा सोचु बड़ जी कें ।।

सोनु हमरेहि माथें काढ़ा । दिन चलि गये ब्याज बड़ बाढ़ा ।।

अब आनिअ ब्यवहरिआ बोली। तुरत देउँ मैं थैली खोली ।।

सुनि कटु बचन कुठार सुधारा हाय हाय सब सभा पुकारा ।।

भृगुबर परसु देखाबहु मोही । बिप्र बिचारि बचौं नृपद्रोही ।।

मिले न कबहूँ सुभट रन गाढ़े। द्विजदेवता घरहि के बाढ़े।।

अनुचित कहि सबु लोगु पुकारे । रघुपति सयनहि लखनु नेवारे।।

लखन उतर आहुति सरिस भृगुबरकोपु कृसानु।

बढ़त देखि जल सम बचन बोले रघुकुलभानु ||

(1) काव्यांश में नृपद्रोही किसे कहा गया है-

(क) राम को

(ख) लक्ष्मण को

(ग) विश्वामित्र को

(घ) परशुराम को

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Ans. (घ) परशुराम को


(2) रघुकुलभानु किसे कहा गया है-

(क) राम को

(ख) विश्वामित्र को

(ग) लक्ष्मण को

(घ) परशुराम को

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Ans. (क) राम को


(3) लक्ष्मण के अनुसार परशुराम पर कौनसा ऋण बाकी था-

(क) माता का

(ख) पिता का

(ग) गुरू का

(घ) लक्ष्मण का

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Ans. (ग) गुरू का


(4) काव्यांश के आधार पर परशुराम के स्वभाव की विशेषताएँ हैं-

(क) उग्र, क्रोधी, अहंकारी

(ख) निर्भीक, साहसी, वाकपटु

(ग) शांत, सौम्य, साहसी

(घ) निर्भीक, शांत, अहंकारी

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Ans. (क) उग्र, क्रोधी, अहंकारी


(5) प्रस्तुत प्रसंग में राम के वचन किसके समान बताए गए है-

(क) अग्नि के समान

(ख) यज्ञाहुति के समान

(ग) शीतल जल के समान

(घ) शक्कर के समान

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Ans. (ग) शीतल जल के समान


10. पाठ्यपुस्तक में निर्धारित कविताओं के आधार पर निम्नलिखित दो बहुविकल्पी प्रश्नों के सर्वाधिक उपयुक्त विकल्प चुनकर लिखिए-

(1) छोटे से जीवन की कैसे बड़ी कथाएँ आज कहूँ इस पंक्ति से जयशंकर प्रसाद के स्वभाव के बारे में क्या पता चलता ?

(क) वे बड़े कवि नहीं थे

(ख) वे बहुत विनम्र थे उनको अहंकार छू तक न गया था

(ग) उन्होंने अभी-अभी साहित्य जगत् में कदम रखा था

(घ) वे अपने आपको बड़ा साहित्यकार समझते थे

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Ans. (घ) वे अपने आपको बड़ा साहित्यकार समझते थे


(2) उड़ने को नभ में तुम पर पर कर देते हो इस पंक्ति में दूसरे पर’ का क्या अर्थ है?

(क) पंख

(ख) पक्षी

(ग) पत्ता

(घ) प्रदान करना

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Ans. (घ) प्रदान करना


खंड-ख (वर्णनात्मक प्रश्न)

11. गद्य पाठों के आधार पर निम्नलिखित चार प्रश्नों में से किन्हीं तीन प्रश्नों के उत्तर लगभग 25-30 शब्दों में लिखिए –

(1) लेखिका के अनुसार कौन सी दो बातों का एक साथ होना संभव नहीं?

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Ans. लेखिका के अनुसार, दो बातें जो एक साथ होना संभव नहीं हैं, वे हैं-

1. खुद विशिष्ट बनने और लेखिका को विशिष्ट बनाने की पिता की लालसा ।

2. सामाजिक छवि के प्रति उनकी सजगता ।


(2) बिस्मिल्ला खाँ की तुलना हिरण से क्यों की गई है? पठित पाठ के आधार पर लिखिए।

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Ans. जिस प्रकार हिरण अपनी ही कस्तूरी की महक से परेशान होकर जंगल भर में उस वरदान को खोजता फिरता है जिसकी महक उसी में समाई है, उसी प्रकार सुर का अनुपम ज्ञान रखने वाले बिस्मिल्ला खाँ यहीं सोचते आए हैं कि सातों सुरों को बरतने की तमीज अब तक क्यों नहीं आई। इस कारण उनकी तुलना हिरण से की गई है।


(3) पेट भरना या तन ढँकना मनुष्य की संस्कृति की जननी क्यों नहीं है।

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Ans. पेट भरना या तन ढँकना मनुष्य की संस्कृति की जननी नहीं कहला सकती क्योंकि ये सिर्फ भौतिक आवश्यकताएँ है । मनुष्य की संस्कृति की जननी उसके अंदर की वह प्रेरणा है जिसके कारण वह निस्वार्थ भाव से प्राणी मात्र का कल्याण कर सके । उनकी इसी सहज आतंरिक प्रेरणा ने ही संस्कृति का विकास किया है।


(4) हालदार साहब मूर्ति पर सरकंडे का चश्मा देखकर भावुक क्यों हो गए?

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Ans. हालदार साहब कैप्टन की मृत्यु के बाद भी मूर्ति को चश्मा लगाने की परम्परा का निर्वाह होता देखकर भावुक हो गए। मूर्ति पर लगा सरकण्डे का चश्मा निश्चित रूप से बच्चों द्वारा लगाया गया था। वे बच्चों में देशभक्ति की भावना देखकर भावुक थे। उन्हें विश्वास हो गया कि नई पीढ़ी में भी देश भक्ति की भावना विद्यमान है।


12. निर्धारित कविताओं के आधार पर निम्नलिखित चार प्रश्नों में से किन्हीं तीन प्रश्नों के उत्तर लगभग 25-30 शब्दों में लिखिए-

(1) कवि ने फसल को लाख-लाख कोटि-कोटि हाथों के स्पर्श की गरिमा क्यों कहा है? स्पष्ट कीजिए ।

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Ans. कवि ने फसलों को लाखों-करोड़ों किसानों के हाथों के स्पर्श की गरिमा कहा है। ऐसा कहकर कवि किसानों के हाथों के परिश्रम को सम्मान देना चाहता है। किसानों के हाथों के श्रम की महिमा ही लहलहाती हुई फसल के रूप में दृष्टिगत होती है।


(2) संगतकार के माध्यम से कवि किस प्रकार के व्यक्तियों की ओर संकेत करना चाह रहा हैं?

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Ans. संगतकार के माध्यम से कवि उन व्यक्तियों की ओर संकेत करना चाह रहा है जो सफल व प्रसिद्ध लोगों का साथ अपनी रचनात्मकता से देते हैं। ऐसे लोग मुसीबत में भी साथ नहीं छोड़ते, ढाँढ़स बँधाते हैं और उनकी छवि भी निखारते हैं। इन लोगों के योगदान को कम नहीं किया जा सकता।


(3) मरजादा न लही के माध्यम से कौन सी मर्यादा न रहने की बात की जा रही हैं?

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Ans. गोपियों ने उद्धव से योग-संदेश सुन कर कहा कि वे योग की शिक्षा ऐसे लोगों को दें जिनके मन स्थिर नहीं हैं जो कृष्ण के दिवाने नहीं हैं। जिन्हें प्रेम, भक्ति और कृष्ण पर कोई आस्था नहीं है। ऐसे भटके हुए लोग ही योग जैसी बेकार बातों की ओर मुड़ सकते हैं। अतः उन्हें ये लोग संदेश दीजिए ।


(4) कवि बादल से वज्र छिपा, नूतन कविता फिर भर दो क्यों और किस प्रयोजन से कहते हैं? बताइए।

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Ans. वज्र छिपा, नूतन कविता फिर भर दो कवि ने बादल से इसलिए कहा है क्योंकि वज्र ध्वंस (विनाश) करता है, जबकि कवि नूतन कविता का सृजन चाहता है, इसीलिए कवि ने वज्र को छिपाए रखने की प्रार्थना की है।


13. पूरक पाठ्यपुस्तक के पाठों पर आधारित निम्नलिखित तीन प्रश्नों में से किन्हीं दो प्रश्नों के उत्तर लगभग 50-60 शब्दों में लिखिए-

(1) ‘माता का अँचल’ पाठ में संस्कारों का वर्णन किया गया है क्या आज भी इन संस्कारों की आवश्यकता है? अपने विचार प्रस्तुत कीजिए ।

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Ans. ‘माता का अँचल’ पाठ में अनेक पारिवारिक व सामाजिक संस्कारों का वर्णन किया गया है जो उस समय के समाज के संस्कारों का सहज प्रकटीकरण करता है। पाठ में दिखाया गया है कि माता-पिता अपने पुत्र भोलानाथ पर पूरा ध्यान देते हैं, उसे हर समय अपनी छाया व संरक्षण प्रदान करते हैं। बालक की दिनचर्या एक खास समय प्रबंधन को ध्यान में रखकर बनाई गई है। घर में पूजा-पाठ, जीव-जंतुओं के संरक्षण का भी माहौल है। खान-पान के समय खास सतर्कता बरती जाती है, ऐसे में किसी भी बच्चे पर परिवार के संस्कारों का उचित व सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा ही। आज के समाज में न तो परिवार बच्चों पर विशेष ध्यान दे पाते हैं और न ही ऐसी दिनचर्या को अपना पाते हैं। आज का युवा वर्ग एक अजीब सी दौड़ का हिस्सा बनकर हमेशा दौड़ता रहता है। कहीं जीवन में ठहराव नहीं होता। इसलिए पाठ में आए संस्कारों की आवश्यकता आज और भी महत्वपूर्ण बन जाती है।


(2) बुद्ध धर्म के अनुयायियों की ईश्वर के प्रति आस्तिकता उनके किन कार्यों से पता चलती है ? उनकी इन गतिविधियों से हमारे मन में कैसे भाव उदित होते हैं तथा हमें क्या प्रेरणा मिलती है ? स्पष्ट कीजिए।

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Ans. सिक्किम के रास्ते में लेखिका ने देखा कि एक स्थान पर कतार में लगी सफेद-सफेद बौद्ध पताकाएँ लहरा रही थीं। शांति और अहिंसा की प्रतीक इन पताकाओं पर मंत्र लिखे गए थे। ये पताकाएँ किसी बुद्धिष्ट की मृत्यु होने पर शहर से दूर पवित्र स्थानों पर फहराई जाती हैं। ये पताकाएँ संख्या में 108 होती हैं। इन्हें उतारा नहीं जाता बल्कि ये धीरे-धीरे अपने आप नष्ट होती हैं। इस तरह बौद्ध धर्म के अनुयायियों की ईश्वर के प्रति आस्तिकता का पता चलता है।

इन गतिविधियों से हमारे मन में आस्तिकता का भाव उदय होता है। हमें इनसे यह प्रेरणा मिलती है कि मृत्यु जैसे क्रियाकर्म को अत्यंत सादगी से पूरा करना चाहिए तथा इसमें ऐसी वस्तुओं का प्रयोग करें जो पर्यावरण के लिए हानिकारक न हों।


(3) पत्थर पर मानव छाया देखकर लेखक को एक थप्पड़-सा लगा, क्यों? यदि लेखक की जगह आप होते तो आपकी प्रतिक्रिया क्या होती? अपने शब्दों में लिखिए।

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Ans. हिरोशिमा में सब कुछ देखकर भी लेखक ने अनुभूति प्रत्यक्ष के अभाव में तत्काल कुछ नहीं लिखा था। एक दिन अचानक सड़क पर घूमते हुए उन्होंने देखा कि एक जले हुए पत्थर पर एक लंबी उजली मानव छाया है। उन्होंने कल्पना की कि विस्फोट के दौरान कोई वहाँ खड़ा रहा होगा और विस्फोटक किरणों ने उसे भाप बनाकर उड़ा दिया होगा। इस प्रकार उस छाया को देखते ही लेखक को एक थप्पड़-सा लगा और वह अवाक रह गया। पल भर में ही इतिहास का वह दृश्य उनके अंतर्मन में काँध गया और इस आत्मानुभूति से लेखक हिरोशिमा विस्फोट का भोक्ता बन गया। यदि मैं लेखक की जगह होता तो मेरी दशा भी वैसी ही होती जैसी लेखक की हुई थी। विज्ञान के इस दुरुपयोग और मानवता के प्रतिकूल हुई इस घटना की अनुभूति की प्रतिक्रिया स्वरूप मेरी लेखनी से भी संवेदनात्मक अंकुर फूट पड़ते ।


14. निम्नलिखित तीन विषयों में से किसी एक विषय पर लगभग 120 शब्दों में एक अनुच्छेद लिखिए-

(1) नारी और नौकरी

संकेत बिन्दु :

• दोगुना कार्य

• घर और बाहर में संतुलन

• व्यक्तित्व निर्माण में सहायक कार्य ।

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Ans. (1) नारी और नौकरी

आज के वैज्ञानिक युग में नारी पुरूषों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर आगे बढ़ रही है। शिक्षा, पत्रकारिता, चिकित्सा, कानून, व्यापार, हस्तकला और यहाँ तक कि पुलिस और सेना में भी महिलाओं को

अपना कार्य मुस्तैदी से करते हुए देखा जा सकता है। पुरूषों का वर्चस्व तोड़कर कामयाबी हासिल करने वाली महिलाओं को आज भी परिवार से वह सहयोग नहीं मिल रहा जो उसे मिलना चाहिए। अपनी पेशेवर जिम्मेदारियों और घरेलू दायित्व के बीच तालमेल बिठाती हुई स्त्री हर जगह देखी जा सकती है। कार्यालय की जिम्मेदारियाँ निभाते हुए, अपने घर, परिवार और बच्चों की देखभाल करती हुई नारी दो पाटों में फंसे खूँटे के समान हो गई है। सबकी आवश्यकता पूरी करती हुई वह दोनों में संतुलन स्थापित करती रहती है थोड़ी सी भी असफलता से उसे निंदा का सामना करना पड़ता है। कामकाजी नारी की बात होते ही किसी स्कूल कार्यालय में काम करने वाली औरतों की छवि आ जाती है। इनके कौशल, इनकी व्यक्तिगत पहचान को सम्मान नहीं दिया जाता किन्तु इनके कौशल का लोहा सभी मानते हैं। कामकाजी नारी पूर्ण सजगता से घर को चलाने के लिए कार्यालय को चलाने की ईमानदार कोशिश करती है। आर्थिक दृष्टि से आत्मनिर्भर होकर इनका व्यक्तित्व निखर जाता है।


(2) ग्लोबल वार्मिंग

संकेत बिन्दु :

• धरती पर बढ़ता तापमान

• बदलता मौसम

• समस्या के कारण

• समाधान।

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Ans. (2) ग्लोबल वार्मिंग

ग्लोबल वार्मिंग का अर्थ है पृथ्वी के औसत तापमान में वृद्धि। वायुमण्डल में कार्बन डाइऑक्साइड की मात्रा बढ़ने से ग्लोबल वार्मिंग का खतरा है। ओजोन परत के क्षरण से भी पृथ्वी पर तापमान बढ़ने का खतरा है। ओजोन परत हमारी धरती के लिए एक सुरक्षा कवच का काम करती है और यह सूर्य की हानिकारक पराबैंगनी किरणों को आने से रोकती है। क्लोरा फ्लोरो कार्बस के कारण ओजोन पर में छेद हो रहे हैं। इसके परिणामस्वरूप पराबैंगनी किरणें सीधी धरती परत आएँगी, पृथ्वी का तापमान बढ़ेगा, अनेक रोग फैलेंगे और अनेक प्राकृतिक आपदाओं जैसे- बाद, सूखा, हिमक्षरण आदि के दुष्परिणाम सामने आएँगे। ग्लोबल वार्मिंग से न केवल मनुष्य, बल्कि जीव-जंतु और पौधे भी प्रभावित होंगे। ग्लेशियर पिघलने से समुद्र का जल स्तर बढ़ेगा और समुद्री तटवर्ती क्षेत्रों के जलमग्न होने की आशंका भी बढ़ेगी। ग्लोबल वार्मिंग के दुष्प्रभाव से पृथ्वी को बचाने के लिए जीवाश्म ईंधन के उपयोग को कम करना होगा। वैकल्पिक ऊर्जा के स्रोतों का पता लगाकर उनका उपयोग करना होगा, क्लोरोफ्लोरो कार्बस की मात्रा पर अंकुश लगाना होगा, ग्रीन हाउस गैसों को बढ़ने से रोकना होगा, वृक्षारोपण को प्रोत्साहन देना होगा और वन-संरक्षण के लिए युद्ध स्तर पर कदम उठाने होंगे।


(3) परीक्षा से पहले मेरी मनोदशा

संकेत बिन्दु :

• परीक्षा नाम से भय

• पर्याप्त तैयारी

• प्रश्नपत्र देखकर भय दूर हुआ

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Ans. (3) परीक्षा से पहले मेरी मनोदशा

छात्र जीवन, जीवन का सबसे सुनहरा दौर होता है जब बच्चे मौज-मस्ती के साथ-साथ खूब मेहनत कर अपने जीवन को एक दिशा देने के लिए प्रयासरत रहते है। लेकिन इस जीवन में “परीक्षा” नाम के एक शब्द से सभी छात्रों को बहुत अधिक डर लगता है। हो भी क्यों ना क्योंकि इन्हीं परीक्षाओं के मूल्यांकन के आधार पर हमारे भविष्य की रूपरेखा तय होती हैं। इसीलिए जैसे-जैसे मेरी परीक्षायें नजदीक आ रही थी | मेरे अंदर डर बढ़ता जा रहा था। हालाँकि अब मैं अपना अधिक समय पढ़ाई में ही बिता रहा था। हर विषय के हर अध्याय को बार-बार दोहरा कर याद करने की कोशिश कर रहा था। फिर भी मुझे यह डर लग रहा था कि कहीं परीक्षा की घबराहट में, मैं कुछ भूल न जाऊं । परीक्षा का तनाव कम करने के लिए मैं शाम को थोड़ी देर के लिए पास के ही एक पार्क में घूमने चला जाता था। परीक्षा शुरू होने के लगभग एक सप्ताह पहले ही मैंने अपने हर विषय की पर्याप्त तैयारी कर ली थी लेकिन फिर भी मन में परीक्षा को लेकर तरह-तरह की आशंकाएं थी। आखिरकार परीक्षा का दिन आ पहुंचा। मैं सुबह जल्दी उठकर अपनी सारी तैयारी के साथ परीक्षा भवन में पहुंच गया। प्रश्नपत्र मिलने से पहले भी मन में डर समाया हुआ था लेकिन मैंने अपने आप को तनावमुक्त रखने का भरसक प्रयास किया। आखिरकार हमारे क्लास टीचर ने हमें प्रश्नपत्र दिया। प्रश्नपत्र लेने के बाद मैंने हर प्रश्न को ध्यान से पढ़ना शुरू किया और 10 मिनट तक पढ़ता चला गया। पूरे प्रश्नपत्र को पढ़ने के बाद मुझे लगा कि मैं इस प्रश्नपत्र को आसानी से हल कर सकता हूं क्योंकि मुझे प्रश्नों के जवाब याद थे। अब मेरी सारी घबराहट दूर हो चुकी थी और में आराम से एक-एक कर सभी प्रश्नों के उत्तर लिखने में व्यस्त हो गया।


15. पुस्तकालय में हिंदी के प्रसिद्ध लेखकों की पुस्तकें मँगवाने के लिए प्राचार्य को लगभग 100 शब्दों में एक प्रार्थना-पत्र लिखिए ।

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Ans.

सेवा में,

श्रीमान् प्राचार्य महोदय,

डी.ए.वी. पब्लिक स्कूल,

नई दिल्ली

दिनांक: 17 अगस्त, 20xx

विषय: पुस्तकालय में हिंदी के प्रसिद्ध लेखकों की पुस्तकें मँगवाने के संबंध में ।

महोदय.

सविनय निवेदन यह है कि मैं 10वीं (ए) का छात्र हूँ। हमारे विद्यालय के पुस्तकालय में हिंदी के प्रसिद्ध लेखकों की पुस्तकों का अभाव है। पुस्तकालय में प्रेमचंद, आचार्य महावीर प्रसाद द्विवेदी, महादेवी वर्मा, फणीश्वर नाथ रेणु जैसे प्रसिद्ध लेखकों की एक भी पुस्तक नहीं है।

अतः आपसे विनम्र प्रार्थना है कि आप पुस्तकालय में हिंदी के प्रसिद्ध लेखकों की पुस्तकें मँगवाने की कृपा करें। इससे हमारी हिंदी साहित्य के प्रति रुचि जाग्रत होगी और ज्ञान में वृद्धि भी होगी।

धन्यवाद।

आपका आज्ञाकारी शिष्य

अंकित शर्मा

मॉनीटर – दसवीं (बी)


अथवा

अपने सेवानिवृत पूर्व प्रधानाध्यापक को उनकी उपलब्धियों की सराहना करते हुए लगभग 100 शब्दों में

धन्यवाद ज्ञापन का पत्र लिखिए।

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Ans.

विजय

45. आदर्श नगर,

दिल्ली।

दिनांक: 4 जुलाई, 20xx

आदरणीय गुरूजी

सादर प्रणाम!

आशा है आप सकुशल होंगे।

मुझे पता चला कि आप गत वर्ष सेवानिवृत हो गए हैं। सुनकर झटका लगा। मैं आपको विद्यालय से अलग करके देख ही नहीं सकता। जब भी विद्यालय की चर्चा आती है तो आपका यशस्वी व्यक्तित्व मेरी आँखों के सामाने साकार हो जाता हे। आपका कर्मठ व्यक्तित्व आपका सब बच्चों को अनुशासन में रखना और अध्ययन के प्रति गहरा लगाव देखकर मुझे किसी सिद्ध आचार्य की याद आ जाती है।

आदरणीय गुरूजी, आपके नेतृत्व और मार्गदर्शन में हमारे विद्यालय ने चहुँमुखी उन्नति की है। इस नगर के लोग आपका लोहा मानते हैं। जितने भी बच्चे यहाँ से पढ़कर गए हैं, वे आपकी प्रशंसा करते नहीं थकते मैं आपके उज्जवल, स्वस्थ और शांत भविष्य की कामना करता हूँ और आपकी समर्पित सेवाओं के लिए आपके प्रति धन्यवाद प्रकट करता हूँ।

आपका प्रिय शिष्य

विजय


16. आप सुशील गुप्ता / सुशीला गुप्ता हैं आपने स्नातक स्तर तक अध्ययन किया है तथा आप (सुशीला गुप्ता) एक समाज सेविका के रूप में कार्य कर रही हैं। भास्कर में आँगनबाड़ी में सहायिका हेतु विज्ञापन प्रकाशित हुआ है। इस पद पर नियुक्ति पाने हेतु लगभग 80 शब्दों में एक स्ववृत्त तैयार कीजिए ।

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Ans.

स्ववृत्त

नाम                  : सुशीला गुप्ता

पिता का नाम    : श्री सुरेश गुप्ता

माता का नाम   :श्रीमती जानकी गुप्ता

जन्म तिथि       :27 जनवरी, 1998

वर्तमान पता      :23, गांधी नगर, अलवर (राजस्थान)

स्थायी पता       : 63, शंकर कॉलोनी, अलवर

मोबाइल नंबर    : 3660XXXXXX

ई-मेल               : sushila1998@gmail.com

अन्य संबंधित योग्यताएँ

• कंप्यूटर का ज्ञान

• डे-कैंप व ओवर-नाइट कैंप के आयोजन का अनुभव

• राजस्थानी भाषा का ज्ञान

उपलब्धियाँ

• वाद-विवाद प्रतियोगिता में राज्य स्तर पर प्रथम पुरस्कार (2013)

• आशुभाषण प्रतियोगिता में राज्य स्तर पर द्वितीय पुरस्कार (2016)

कार्येत्तर गतिविधियाँ तथा अभिरुचियाँ

• समाज सेविका के रूप में कार्यरत्

• अनाथ आश्रमों व वृद्ध आश्रमों का नियमित अंतराल पर दौरा

• समाचार-पत्र का नियमित पठन

संदर्भित व्यक्तियों का विवरण

• श्री किशन लाल सैनी, सरपंच ग्राम उबाना

• श्रीमती रमा भारद्वाज, प्रिंसिपल डी.ए.वी. कॉलेज, अलवर

उद्घोषणा

मैं प्रमाणित करती हूँ कि उपर्युक्त सभी सूचनाएँ सत्य हैं।

दिनांक 10.07.20xx                               सुशीला गुप्ता

स्थान: अलवर (राजस्थान)                     हस्ताक्षर


अथवा

आपको अपनी बहन के विवाह में शामिल होने के लिए 3 दिन के अवकाश की आवश्यकता है। इसके लिए प्रधानाचार्य को लगभग 80 शब्दों में एक ई-मेल लिखिए ।

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Ans.


17. आपके नगर में आयोजित होने वाली भारत की सांस्कृतिक एकता प्रदर्शनी को देखने के लिए लोगों को आमंत्रित करते हुए लगभग 40 शब्दों में एक आकर्षक विज्ञापन तैयार कीजिए।

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Ans.


अथवा

शिक्षक दिवस के अवसर पर अपने हिंदी शिक्षक के लिए लगभग 40 शब्दों में एक संदेश लिखिए ।

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Ans.